Sunday, July 6, 2014

व्यवस्था

प्रशासक सब गूंगे बहरे, शासक बैठा मौन 
निर्धन भूखी जनता की फरियाद सुनेगा कौन 
वेद व्यास भी भौचक्के हैं देख भरत का भारत 
चीर उतारे खडी द्रौपदी, वाह- वाह करते द्रौन 
सुभाष मलिक

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